
हिमाचल की बेटी बनेगी असिस्टेंट लोको पायलट दौड़ाएगी रेलगाड़ी
02 Mar 2020 08:25 AM जब लड़कियां सेना में भर्ती होकर देश की सेवा कर सकती हैं , लड़ाकू विमान उड़ा सकती हैं तो हम लोको पायलट बनकर क्यों नहीं कर सकते हैं। चुनौतियों भरे कार्य करके हम भी यह बताना चाहती हैं कि भारत की महिलाएं किसी भी क्षेत्र में पुरुषों से कम नहीं हैं। कुछ अलग हटकर करने वालों की ही दुनिया में पहचान होती है। हम भी देश सेवा के साथ भविष्य में कुछ हटकर करने की तमन्ना रखती हैं। ऐसा ही हौसला कांगड़ा क्षेत्र की पालमपुर की बेटी का भी है, जिसने पिता को गाड़ी चलाते क्या देखा तो खुद ट्रेन चलाने का ख्वाब पाल लिया। बेटी किरण का ऐसा ही ख्वाब पलने भी लगा है और जल्द ही साकार होने वाला है।
उपमंडल पालमपुर के छोटे से गांव मसेरना की बेटी किरण पिता की तरह गाड़ी चलाएगी लेकिन यह छोटी-मोटी न होकर कई डिब्बों वाली रेलगाड़ी होगी। किरण इन दिनों कानपुर में रेलगाड़ी चलाने का प्रशिक्षण ले रही हैं। 25 मार्च को प्रशिक्षण की अवधि समाप्त होने के बाद किरण रेलगाड़ी को चलाने वाली हिमाचल की पहली युवती होगी। वह असिस्टेंट लोको पायलट रूप में रेलवे विभाग में सेवाएं देंगी।उनके पिता ने बताया कि रेलवे में पहली बार उक्त पद के लिए महिलाओं के लिए भी भर्तियां हुईं। ट्रेनिंग के बाद वो प्रदेश की पहली महिला असिस्टेंट लोको पायलट होगी, जोकि रेलवे में ट्रेन ड्राइवर के रूप में पूर्ण रूप से अपनी सेवाएं देंगी। किरण ने उक्त पद के लिए निकली निविदाओं में आवेदन किया और परीक्षा देने के बाद उत्तीर्ण भी हुई। रेलवे में असिस्टेंट लोको पायलट के रूप में प्रदेश से वे पहली महिला लोको पायलट बनने जा रही है,